सशक्त नारी, समृद्ध मध्यप्रदेश: मुख्यमंत्री उद्यम शक्ति योजना के माध्यम से आत्मनिर्भरता की ओर बढ़ती महिलाएं

प्रस्तावना

“जब नारी सशक्त होती है, तो समाज समृद्ध होता है। और जब समाज समृद्ध होता है, तो पूरा प्रदेश विकास के पथ पर अग्रसर होता है।” – यही संदेश है मध्यप्रदेश सरकार की प्रमुख पहल मुख्यमंत्री उद्यम शक्ति योजना का, जिसका उद्देश्य है महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाकर सशक्त नारी, समृद्ध मध्यप्रदेश” की अवधारणा को साकार करना।

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव के नेतृत्व में यह योजना ग्रामीण व शहरी क्षेत्रों की महिलाओं को उद्यमिता के लिए प्रेरित कर रही है। योजना के अंतर्गत महिला समूहों और व्यक्तिगत महिला उद्यमियों को कम ब्याज पर ऋण उपलब्ध कराया जा रहा है ताकि वे अपना खुद का व्यवसाय शुरू कर सकें और आर्थिक रूप से मजबूत बन सकें।


मुख्यमंत्री उद्यम शक्ति योजना क्या है?

मुख्यमंत्री उद्यम शक्ति योजना मध्यप्रदेश सरकार द्वारा चलाई जा रही एक विशेष योजना है, जिसका लक्ष्य है महिलाओं को स्वरोजगार एवं उद्यमिता की ओर बढ़ावा देना। इसके अंतर्गत महिलाएं अपने स्वयं के छोटे व्यवसाय, उद्योग, दुकानों, सेवा क्षेत्र आदि में ऋण लेकर स्वतंत्र रूप से काम शुरू कर सकती हैं।

योजना की मुख्य विशेषताएं:

1. महिला समूहों को कम ब्याज दर पर ऋण
2. 2% ब्याज अनुदान की सुविधा
3. व्यवसाय की शुरुआत में मार्गदर्शन एवं प्रशिक्षण
4. बैंकिंग प्रक्रिया में सहयोग
5. उद्यमिता को बढ़ावा देने हेतु संस्थागत सहयोग


अब तक की उपलब्धियां

मध्यप्रदेश सरकार के महिला एवं बाल विकास विभाग, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग और सामाजिक न्याय विभाग के संयुक्त प्रयासों से यह योजना सफलतापूर्वक क्रियान्वित हो रही है।

. 30,264 महिला स्व-सहायता समूहों को कम ब्याज पर ऋण की सुविधा मिली है।
. 12,685 महिला उद्यमियों को सीधे तौर पर 2% ब्याज अनुदान का लाभ मिला है।
. हजारों महिलाएं आज अपने पैरों पर खड़ी हैं और अपनी आजीविका स्वयं चला रही हैं।


महिला सशक्तिकरण की दिशा में उठाया गया प्रभावी कदम

1 आर्थिक आत्मनिर्भरता

ऋण मिलने के बाद महिलाएं अब पारंपरिक व्यवसाय जैसे ब्यूटी पार्लर, सिलाई-कढ़ाई केंद्र, बेकरी, किराना दुकान, बुटीक, पशुपालन, आचार-पापड़ निर्माण आदि शुरू कर रही हैं। इससे न केवल उनकी आर्थिक स्थिति बेहतर हुई है, बल्कि वे अपने परिवार का भी सहयोग कर रही हैं।

2. सामाजिक स्वीकृति

पहले महिलाओं को व्यवसाय करना एक चुनौती माना जाता था, लेकिन अब परिवार और समाज दोनों उन्हें समर्थन दे रहे हैं। कई महिला उद्यमियों ने स्थानीय स्तर पर पहचान बनाई है।

3. आत्म-गौरव की भावना

इस योजना के माध्यम से महिलाओं को सिर्फ आर्थिक सहायता ही नहीं मिल रही, बल्कि उनमें आत्मविश्वास, आत्मसम्मान और निर्णय लेने की शक्ति भी विकसित हो रही है।


प्रेरणादायक कहानियाँ

सुनीता की कहानी – ब्यूटी पार्लर से पहचान बनी

भोपाल जिले की सुनीता बाई पहले घरेलू काम करती थीं, लेकिन मुख्यमंत्री उद्यम शक्ति योजना के तहत ₹1.5 लाख का लोन लेकर उन्होंने अपना ब्यूटी पार्लर शुरू किया। आज वह दो अन्य महिलाओं को रोजगार दे रही हैं और महीने में ₹20,000 से ₹25,000 तक कमा रही हैं।

गीता देवी – आचार निर्माण से लाखों की कमाई

रीवा की गीता देवी ने महिला समूह के माध्यम से ₹2 लाख का ऋण लेकर घरेलू आचार निर्माण का व्यवसाय शुरू किया। उनके उत्पाद अब ऑनलाइन प्लेटफार्म पर भी बिक रहे हैं। उनके समूह ने साल भर में ₹3.5 लाख का मुनाफा कमाया।


प्रशासनिक सहयोग और पारदर्शिता

मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव की अगुवाई में योजना को जमीनी स्तर तक पहुंचाने के लिए जिला प्रशासन, महिला एवं बाल विकास विभाग, पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग, और सामाजिक न्याय विभाग मिलकर काम कर रहे हैं।

विभागीय योगदान:

  • महिला एवं बाल विकास विभाग: महिलाओं को चिन्हित कर योजना से जोड़ने का कार्य।
  • पंचायत एवं ग्रामीण विकास विभाग: स्व-सहायता समूहों के गठन और संचालन का कार्य।
  • सामाजिक न्याय विभाग: अनुसूचित जाति, जनजाति, एवं अन्य पिछड़ा वर्ग की महिलाओं को प्राथमिकता देना।

योजना का व्यापक प्रभाव

मानदंडआंकड़े
महिला समूहों को ऋण30,264
महिला उद्यमियों को लाभ12,685
औसत ऋण राशि₹1.5 लाख
ब्याज अनुदान2% तक
प्रत्यक्ष रोजगार सृजन50,000+ महिलाएं

योजना से जुड़ने की प्रक्रिया

  1. निकटतम आंगनवाड़ी या पंचायत कार्यालय में संपर्क करें।
  2. स्व-सहायता समूह का सदस्य बनें।
  3. आवेदन फॉर्म भरें और आवश्यक दस्तावेज़ जमा करें।
  4. प्रशिक्षण प्राप्त करें (यदि आवश्यक हो)।
  5. बैंक द्वारा ऋण की स्वीकृति के बाद व्यावसायिक कार्य शुरू करें।

लाभार्थियों की राय

“इस योजना ने मेरी जिंदगी बदल दी। अब मैं न केवल कमाती हूं, बल्कि अपने बच्चों को अच्छी शिक्षा भी दे पा रही हूं।” – रेणु बाई, दमोह

“पहले घर चलाना मुश्किल था, लेकिन अब खुद का बुटीक चलाकर मैं गर्व से कह सकती हूं कि मैं आत्मनिर्भर हूं।” – ममता मिश्रा, सागर


सोशल मीडिया अभियान

इस योजना को जन-जन तक पहुंचाने के लिए #CMMadhyaPradesh, #NariShakti_MP, #WomenEmpowerment_MP, #स्वावलंबी_महिला_सशक्त_राष्ट्र जैसे हैशटैग के माध्यम से सोशल मीडिया पर भी अभियान चलाया जा रहा है।


निष्कर्ष

“सशक्त नारी, समृद्ध मध्यप्रदेश” केवल एक नारा नहीं, बल्कि एक लक्ष्य है जिसे मुख्यमंत्री उद्यम शक्ति योजना के माध्यम से साकार किया जा रहा है। यह योजना महिलाओं को न केवल आत्मनिर्भर बना रही है, बल्कि प्रदेश की आर्थिक और सामाजिक स्थिति को भी सुदृढ़ कर रही है।

डॉ. मोहन यादव जी के नेतृत्व में मध्यप्रदेश सरकार का यह प्रयास महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम है।


महत्वपूर्ण हैशटैग:

#CMMadhyaPradesh
#MadhyaPradesh
#स्वावलंबी_महिला_सशक्त_राष्ट्र
#NariShakti_MP
#WomenEmpowerment_MP
#JansamparkMP


अगर आप या आपके आस-पास कोई महिला इस योजना से जुड़ना चाहती है, तो आज ही अपने ब्लॉक या पंचायत कार्यालय में संपर्क करें और इस क्रांति का हिस्सा बनें।

सशक्त नारी, समृद्ध मध्यप्रदेश – एक संकल्प, एक सफलता!


Scroll to Top